उत्तराखंड, 02,11,2025
देहरादून : कैलाश ओमेगा कैंसर सेंटर ने सोमवार को देहरादून में “जीविता – कैंसर सर्वाइवर्स डे” का एक प्रेरणादायक आयोजन किया। इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य कैंसर को मात दे चुके रोगियों के अदम्य साहस, जीवटता और जीवन के प्रति उनके सकारात्मक नजरिए को सार्वजनिक रूप से सम्मानित करना था।
इस खास मौके पर शहर और आसपास के क्षेत्रों से 100 से अधिक कैंसर सर्वाइवर्स (उत्तरजीवी) और उनके परिवारजन उपस्थित हुए। कार्यक्रम ने एक ऐसा मंच प्रदान किया, जहाँ इन योद्धाओं ने अपने संघर्ष, आशा और जीत की दिल छू लेने वाली कहानियाँ साझा कीं।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे मेडिकल ऑन्कोलॉजिस्ट डॉ. विमल पंडिता ने बताया कि यह दिन केवल जीत का जश्न मनाने भर का नहीं, बल्कि नए मरीजों में उम्मीद की किरण जगाने का भी एक प्रयास है।
मुख्य अतिथि महेन्दर पाला, ग्रुप सीओओ, ओमेगा हॉस्पिटल्स और विशिष्ट अतिथि डॉ. आतिश सिन्हा, मेडिकल सुपरिटेंडेंट, कैलाश हॉस्पिटल ने सर्वाइवर्स और उनके परिवारों की जबरदस्त हौसलाअफजाई की। उन्होंने कहा कि इनका साहस और आत्मबल हर किसी के लिए प्रेरणा का स्रोत है।
कार्यक्रम में कई विशेष सत्र आयोजित किए गए, जिनमें योगा सेशन, मोटिवेशनल टॉक और डॉक्टर-पेशेंट इंटरैक्शन शामिल रहे। इन सत्रों के दौरान मरीजों ने अपने अनुभव सुनाए और डॉक्टरों ने उनकी जिज्ञासाओं का समाधान किया। इस मौके पर सर्जिकल ऑन्कोलॉजिस्ट डॉ. आकाश नारायण गैंद, रेडिएशन ऑन्कोलॉजिस्ट डॉ. सौरभ बंसल, सर्जिकल ऑन्कोलॉजिस्ट डॉ. शश्वत तिवारी और न्यूक्लियर मेडिसिन कंसल्टेंट डॉ. पुलकित मित्तल ने भी मरीजों से रूबरू बातचीत की।
एक महत्वपूर्ण पल तब आया जब केंद्र के पैरामेडिकल स्टाफ के सदस्यों को उनकी निष्ठा, करुणामय सेवा और अथक परिश्रम के लिए गणमान्य अतिथियों और मरीजों द्वारा सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम का समापन कैलाश ओमेगा कैंसर सेंटर की यूनिट हेड सरिता राय के प्रेरक शब्दों के साथ हुआ। उन्होंने कहा, “हर सर्वाइवर की कहानी आशा, उपचार और आत्मबल की मिसाल है। यह हमें याद दिलाती है कि कैंसर के खिलाफ इस लड़ाई में संवेदनशील देखभाल, उत्कृष्ट चिकित्सा और मानसिक दृढ़ता का होना कितना जरूरी है।”
यह आयोजन न केवल जीवन की जीत का उत्सव था, बल्कि कैलाश ओमेगा कैंसर सेंटर की रोगी-केंद्रित और समग्र चिकित्सा सेवाओं के प्रति प्रतिबद्धता को एक बार फिर रेखांकित कर गया।
