Thursday , November 21 2024

धरासू और डुंडा रेंज के जंगलों में लगी आग

उत्तरकाशी(आरएनएस)। बुधवार को विकासखंड के धरासू रेंज के जंगलों में दिनभर आग लगी रही। यहां आग लगने से वन संपदा को भारी नुकसान पहुंचा है। धरासू रेंज के चुफलिया, चिन्याली, पीपल मंडी, दशगी व गमरी क्षेत्र में जंगल सुलगते रहे। जंगल से शहरों की ओर फैल रही इस आगजनी की घटनाओं पर काबू पाने के लिए वन विभाग के कर्मचारियों को भी कड़ी मशक्कत करनी पड़ रही है। विकासखंड और नगर पालिका चिन्यालीसौड़ में बीते वर्ष की अपेक्षा इस वर्ष वनों में आग लगने की घटनाएं बढ़ी हैं। चीड़ के साथ ही चौड़ीपत्ती के जंगल भी जलने लगे हैं। जिससे धुंआ बढ़ गया है। एसडीओ मयंक गर्ग ने बताया कि जंगलों की आग बुझाने के लिए वन विभाग की टीमें तैनात की गई है। जंगलों की आग को बुझाने की हर संभव कोशिश हो रही है। दूसरी ओर डुंडा रेंज के सिंगुणी, धनारीगाड, गमरी गाड आदि जगहों पर भी जंगल आग से धधक रहे हैं। आग के धुंए के कारण रोग भी बढ़ रहे हैं। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र चिन्यालीसौड़ के चिकित्सक डा. प्रवेश रांगड़ ने बताया कि जंगल की आग के धुंए में दर्जनों अलग-अलग तरह के कण होते हैं। जैसे कि कालिख तथा रसायन। जिनमें कार्बन मोनोआक्साइड शामिल है। सांस लेने के लिए सुरक्षित सूक्ष्म कणों की कोई मात्रा नहीं है। क्योंकि यह फेफड़ों की सबसे छोटी दरारों में गहराई तक घुसने के लिए जाने जाते हैं। जो रक्त प्रवाह में प्रवेश कर जाते हैं। यह हार्मोन कोर्टिसोल तथा रक्त ग्लूकोज स्पाइक, जो बदले में हृदय की लय में बदलाव करता है। इससे रक्त के थक्के बनने की अधिक आशंका होती है। फेफड़ों की परत में सूजन आ जाती है, जिससे सांस लेना मुश्किल हो जाता है।

About admin

Check Also

जिज्ञासा यूनिवर्सिटी में बहुविश्यक शोध को बढ़ावा देते सम्मेलन का समापन

शोध को प्रभावी बनाने हेतु बहुविषयक अनुसंधान को बढ़ावा देने के उद्देश्य से जिज्ञासा विश्वविद्यालय …