Hamarichopal,07,05,2023
देहरादून। ट्रैफिक पुलिस ने स्टंटबाजी, रैश ड्राइविंग करने और लड़कियों को छेड़ने वाले राइडर और यूट्यूबरों पर कड़ी कार्रवाई के लिए नई एसओपी तैयार कर दी है। इसमें जीरो टॉलरेंस के तहत अब ना काउंसलिंग और ना चालान किया जाएगा, सीधे आईपीसी की सख्त धाराओं में मुदकमा दर्ज किया जाएगा। इसके साथ ही ऐसे राइडर और ब्लागरों के यूट्यूब, फेसबुक और इंस्टाग्राम अकाउंट भी बंद करवाएं जाएंगे। इसके लिए सोशल मीडिया सेल बनाई गई है।
एसपी ट्रैफिक अक्षय कोंडे ने बताया कि पुलिस ने पिछले साल ऐसे 12 यूट्यूबर चिह्नित किए थे, जो रेस ड्राइविंग और स्टंटबाजी कर खुद के साथ दूसरों की जान को भी खतरे में डालते हैं। पहले चरण में उनको पकड़कर काउंसलिंग करवाई गई। इसके बाद कुछ के खिलाफ मुकदमें दर्ज कर जुर्माना भी लगाया गया। शहर के ऐसे हॉट स्पॉट चिह्नित किए गए, जहां पर रेस ड्राइविंग हो रही थी। इसमें मालदेवता रोड, रायपुर स्टेडियम रोड, किमाड़ी रोड शामिल थी। यहां पुलिस जवानों को सादे कपड़ों में भेजकर इनकी धरपकड़ करवाई गई। बावजूद राइडर और ब्लागर बाज नहीं आ रहे हैं। ऐसे लोगों पर अब सख्त कार्रवाई की तैयारी शुरू कर दी है।
सब्सक्राइबर बढ़ाने को खतरे में डाल रहे जिंदगी
एसपी ट्रैफिक ने बताया कि यूट्यूबर सब्सक्राइबर बढ़ाने की चाहत में खुद के साथ दूसरों की जिंदगी को भी खतरे में डाल रहे हैं। रेस ड्राइविंग के वीडियो यूट्यूब पर अपलोड किए जाते हैं। पुलिस ऐसे चैनलों पर भी नजर रखी हुई। उनको बंद करवाने के लिए यूट्यूब को समय-समय पर पत्र भेजे गए हैं। न्यायालय को भी पत्र लिखे हैं कि ऐसे चैनलों को बंद करवाने के लिए आदेश पारित किया जाए।
जुर्माने से नहीं पड़ रहा फर्क
एसपी ने बताया कि रेस ड्राइविंग करने वाले यूट्यूबर्स के पास 30 से 40लाख रुपये की बाइक है। कुछ तो ऐसे हैं, जिनके पास एक से अधिक बाइकें हैं। रेस ड्राइविंग करने पर चालान कर जुर्माना भी लगाया, लेकिन जर्माने से उन पर कोई फर्क नहीं पड़ रहा है। इसके साथ ही खुद के साथ आम लोगों की जान को खतरे में डालने पर आईपीसी की धारा 336 में केस दर्ज किया गया। ऐसे पुलिस ने सख्त कार्रवाई की एसओपी बनाई है।
इन धाराओं में दर्ज होगा मुकदमा
आईपीसी धारा 268 लोक न्यूसेंस, 279 लोक मार्ग पर उतावलेपन से वाहन चलाना या हांकना, 283 लोक मार्ग या नौपरिवहन पथ में संकट या बाधा, 287 मशीनरी के सम्बन्ध में उपेक्षापूर्ण आचरण, 336 कार्य जिससे दूसरों का जीवन या वैयक्तिक क्षेम संकटापतन्न हो, 509 शब्द, अंग विक्षेप या कार्य जो किसी स्त्री की लज्जा का अनादर करने के लिए आशयित है।