ऋषिकेश(आरएनएस)। नवरात्र के पहले दिन गुरुवार को घटस्थापना के साथ घरों और मंदिरों में मां शैलपुत्री की उपासना की गई। शुभ मुहूर्त में घटस्थापना कर जौ बोने के साथ अखंड ज्योति जलाई गई। मंदिरों में भी तड़के से श्रद्धालुओं की भीड़ रही। ऋषिनगरी के बाजार भी दिनभर लोगों से अटे रहे। ऋषिनगरी के दुर्गा मंदिर, भद्रकाली मंदिर समेत मंदिरों में भक्तों ने पूजा-अर्चना कर सुख समृद्धि की कामना की। माता शैलपुत्री का पूजन कर फल,नारियल,चुनरी और मिठाई का भोग लगाया। ज्योतिष डा. कैलाश घिल्डियाल बताते है कि नवरात्र पर जौ उगाने की परम्परा है। नवरात्र में व्रत का रखना काफी महत्व रखता है। मां शैलपुत्री का संस्कृत में पर्वती की बेटी अर्थ होता है। मां के स्वरूप की बात करे तो मां के माथे पर अर्ध चंद्र स्थापित है। मां के दाहिने हाथ में त्रिशूल और बांए हाथ में कमल का फूल है।
मां के जयकारों से गूंजे मंदिर
डोईवाला। शारदीय नवरात्रि के पहले दिन सुबह से ही सोमेश्वर सिद्ध पीठ मंदिर अग्रवाल धर्मशाला नगर ऋषिकेश रोड, शक्तिपीठ मंदिर देहरादून रोड, के अलावा नगर और ग्रामीण क्षेत्र के मंदिरों में श्रद्धालुओं की भीड़ रही। सोमेश्वर सिद्ध पीठ मंदिर अग्रवाल धर्मशाला के पंडित रमेश डंडरियाल ने श्रद्धालुओं के साथ शुभ मुहूर्त मे विधि विधान से माता रानी की घट स्थापना कर पूजा अर्चना की। महिलाओं ने मंदिर में भजन कीर्तन किये। महिलाओं ने चलो बुलावा आया है माता ने बुलाया है। दुर्गा है मेरी मां, अंबे है मेरी मां भजनों की प्रस्तुति दी। इस दौरान माता के जयकारे गुंजते रहे। पंडित रमेश डंडरियाल ने बताया कि महिला भजन मंडली द्वारा हर वर्ष नवरात्रि के मौके पर 9 दिनों तक शाम को भजन कीर्तन का आयोजन किया जाता है। जिसमें आसपास क्षेत्र की सैकड़ों महिलाएं भजन कीर्तन कार्यक्रम में भाग लेकर 9 दिनों तक माता को प्रसन्न कर परिवार की खुशहाली की कामना करती है। मौके पर संस्कार भारती नगर अध्यक्ष ईश्वरचंद अग्रवाल, बेलीराम गोयल, अनीता गुप्ता, हेमा देवी, सुमन जोशी, संगीता अग्रवाल, उमा शर्मा, रामरती देवी, अरुणा बिष्ट आदि महिलाएं मौजूद रही।
Check Also
रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों और पुरस्कार वितरण के साथ गौचर मेले का हुआ समापन
चमोली(आरएनएस)। 72वें राजकीय औद्योगिक विकास एवं सांस्कृतिक मेला-2024 बुधवार को रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों और पुरस्कार …