नई टिहरी(आरएनएस)। स्थानीय लोगों मूल निवास भू कानून समन्वय समिति के नेतृत्व में सशक्त भूकानून और मूल निवास को लेकर सीएम पुष्कर सिंह धामी को डीएम के माध्यम से ज्ञापन प्रेषित किया। 11 फरवरी को भूकानून और मूल निवास को लेकर वृहत स्वाभिमान रैली जिला मुख्यायल पर आयोजित करने का भी निर्णय लिया गया।
सोमवार को डीएम के माध्यम से सीएम को प्रेषित ज्ञापन में बताया गया कि उत्तराखंड के लोग विशेषकर युवा पिछले लंबे समय से राज्य में अपने संवैधानिक अधिकारों के लिए आंदोलनरत हैं। राज्य में संविधान प्रदत्त मूल निवास 1950 को समाप्त कर उसे स्थायी निवास में बदलने और उसकी कट आ ऑफ डेट 1985 करने के विरोध में राज्य में समय-समय पर आवाज उठती रही है। पिछले दिनों राज्य के विभिन्न हिस्सों से आकर युवाओं ने एक बड़े जन सैलाब के रूप में 24 दिसंबर, 2023 को उत्तराखंड राज्य के शिल्पी और पहाड़ के गांधी इंद्रमणि बडोनी की जयन्ती पर देहरादनू में अपनी बात सरकार के सामने रखी। अब यह आंदोलन राज्य के तमाम हिस्सों में भी जोर पकड़ रहा है। चिंता इस बात की है कि हमारी आने वाली पीढ़ियों के सामने अपने मूल निवास को साबित करने का संकट भी खड़ा हो गया है। मांग करते हैं कि उत्तराखंड में राज्य गठन से पहले जिस तरह से मूल निवास 1950 को मान्यता थी, उसे बहाल किया जाय। मूल निवास की कट ऑफ डेट संवैधानिक प्रावधानों के अनुसार 1950 हो। स्थायी निवास प्रमाण-पत्र जैसी व्यवस्था को समाप्त किया जाये। सरकार राज्य में संविधान के मौलिक अधिकारों की धारा 16-ए के अनुसार राज्य विधानसभा में एक संकल्प पारित करे, जिसमें तृतीय और चतुर्थ श्रेणी सहित उन सभी पदों पर स्थानीय युवाओं के लिए पद आरक्षित करे। इस तरह की व्यवस्था देश के चार राज्यों आंध्र प्रदेश, त्रिपुरा, हिमाचल और मणिपुर में है। यह अधिकार हमें संसद देती है। इसके लिए राज्य सरकार तुरंत एक संकल्प पत्र केन्द्र सरकार को भेजे। राज्य में उन सभी पदों में स्थानीय भाषाओं की अनिवार्य ता लागू की जाए जो सीधे जनता से जुड़े हैं। जैसे पटवारी, ग्राम पंचायत अधिकारी व स्वास्थ विभाग के कर्मचारी। इसके साथ ही सशक्त भूकानून लाकर उत्तरखंड के निवासियों की भूमि बचाने का काम किया जाय। पैमाइश की जाय। वन विभाग में खाते में गई भूमि को कृषि भूमि घोषित किया जाय। मूल निवास भू कानून समन्वय समिति तत्वाधान में ज्ञापन प्रेषित करने वालों में समन्वय समिति के देवेंद्र नौटियाल, ज्योति प्रसाद भट्ट, कांग्रेस के जिलाध्यक्ष राकेश राणा, विजय गुनसोला, शांति प्रसाद भट्ट ,नरेंद्र चंद्र रमोला, साहब सिंह सजवान, गंगा भगत सिंह नेगी, ज्योति प्रसाद डोभाल, विजयपाल सिंह रावत, श्यामलाल शाह, पुरुषोत्तम दत्त पंत, सतीश चमोली आदि मौजूद रहे।
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