पदोन्नति में शिथिलता से जुड़े प्रकरण को विधायी के पास भेज दिया गया है: शैलेश बगोली
देहरादून। कर्मचारियों की सबसे बड़ी मांग पदोन्नति में शिथिलता को लेकर बात आगे बढ़ती नजर आ रही है। गुरुवार को उत्तरांचल फेडरेशन ऑफ मिनिस्टीरियल सर्विसेज एसोसिएशन की सचिव कार्मिक के साथ हुई बैठक में बड़ी राहत दी गई। सचिव कार्मिक शैलेश बगोली ने बताया कि पदोन्नति में शिथिलता से जुड़े प्रकरण को विधायी के पास भेज दिया गया है।
सचिवालय में हुई बैठक में अध्यक्ष पूर्णानंद नौटियाल ने पदोन्नति में शिथिलता पर कोई फैसला न होने पर नाराजगी जताई। कहा कि इस मांग को पूरा करने में सरकार पर कोई भार नहीं पड़ रहा है। शासन की ओर से जल्द लाभ सुनिश्चित कराने का आश्वासन दिया। मुख्य प्रशासनिक अधिकारी के गजट नोटिफिकेशन व मिनिस्ट्रीयल संवर्ग के कार्यदायित्व पर तत्काल प्रस्ताव प्रस्तुत करने के भी निर्देश कार्मिक अनुभाग को दिए।
मिनिस्टीरियल कार्मिको के सुगम से सुगम श्रेणी में पारस्परिक स्थानांतरण और समूह ग के कर्मचारियों को गृह तहसील में भी तैनात किए जाने का आश्वासन दिया। कहा कि अगली धारा 27 की बैठक में प्रस्ताव प्रस्तुत किया जाएगा। मुख्य प्रशासनिक अधिकारियों के पदों पर पदोन्नति को कुल सेवा 22 वर्ष अथवा एक वर्ष वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी के पद पर निरन्तर सेवा पर पर जल्द शासनादेश जारी करने का आश्वासन दिया। मिनिस्टीरियल कर्मचारियों की भी कॉमन सेवा नियमावली बनाई जाएगी। बैठक में सचिव कार्मिक शैलेश बगोली, सचिव वित्त दिलीप जावलकर, अपर सचिव वित्त गंगा प्रसाद, अपर सचिव कार्मिक ललित मोहन रयाल, महामंत्री मुकेश बहुगुणा, सुनील दत्त कोठारी, दीप चंद्र बुडलाकोटी, मुकेश ध्यानी आदि मौजूद रहे।
बढ़ेगी शैक्षिक योग्यता, मिलेगी ट्रेनिंग
बैठक में मिनिस्टीरियल कर्मचारियों की शैक्षिक योग्यता बढ़ाने के साथ ही ट्रेनिंग देने पर भी सहमति बनी। एसीपी व्यवस्था लागू किए जाने को शासन स्तर से दोबारा परीक्षण होगा। एसजीएचएस कार्ड को और प्रभावी बनाने को पैथोलॉजी टेस्ट पर चंदन पैथोलॉजी सेंटर से करार किया जा चुका है। अन्य पैथोलॉजी सेंटर से भी बात की जा रही है। खाली पदों पर भर्ती सुनिश्चित कराई जाएगी।