चमोली(आरएनएस)।उत्तराखण्ड सेवा का अधिकार आयोग की ओर से जनपद चमोली के पदाभिहित और प्रथम अपीलीय अधिकारियों का जिला पंचायत सभागार में एक दिवसीय प्रशिक्षण शिविर आयोजित किया। इस दौरान आयोग के प्रशिक्षकों की ओर से अधिकारियों को सेवा के अधिकार अधिनियम 2011 के तहत विभागों में अधिसूचित सेवाओं और उनके निस्तारण की प्रक्रिया व समयावधि की विस्तृत जानकारी दी।
जिला पंचायत सभागार में आयोजित एक दिवसीय प्रशिक्षण शिविर में सेवा का अधिकार आयोग के उप सचिव श्याम सुंदर सिंह पांगती ने बताया कि अधिनियम के तहत 51 विभागों की 963 सेवाओं को अधिसूचित किया गया है। जिनमें से वर्तमान में 387 सेवाओं का संचालन ऑनलाइन माध्यम से किया जा रहा है। जबकि अन्य विभागीय सेवाओं का संचालन ऑफलाइन हो रहा है। साथ ही उन्होंने अधिसूचित सेवाओं को लेकर पदाभिहित व प्रथम अपीलीय अधिकारियों के कार्यों, शक्तियों और शास्तियों की विस्तृत जानकारी दी।
आयोग के उप रजिस्ट्रार केसी पंत ने बताया कि चमोली जनपद सेवा का अधिकार अधिनियम के अनुपालन में 96.2 फीसदी स्वीकृतियों के साथ दूसरे स्थान पर है। जबकि अपणी सरकार पोर्टल में भी जनपद का प्रदर्शन अन्य जनपदों से बेहतर है। उन्होंने इस दौरान अपणी सरकार पोर्टल के साथ ही अधिनियम के तहत विभागों की ओर से की गई कार्रवाई की रिपोर्टिंग की जानकारी दी।
सहायक रजिस्ट्रार एसएम कंडवाल एवं जसपाल भाटिया ने प्रशिक्षण के दौरान सेवा के अधिकारी अधिनियम की आवश्यकता और पेंशन प्रकरणों के निस्तारण संबंधी प्रक्रियाओं की विस्तृत जानकारी दी। इस दौरान आयोग के अधिकारियों ने विभागीय पदाभिहित व प्रथम अपीलीय अधिकारियों की शंका एवं सवालों का समाधान करते हुए उनके सुझावों को भी संकलित किया।
इस अवसर पर अपर जिलाधिकारी डॉ. अभिषेक त्रिपाठी, पंचायती राज अधिकारी आरएस गुंज्याल, मुख्य शिक्षा अधिकारी कुलदीप गैरोला, जिला शिक्षा अधिकारी धर्म सिंह, एसीएमओ डॉ. उमा रावत सहित अन्य विभागीय अधिकारी मौजूद थे।
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